कैथल: स्थानीय विधायक पर वाल्मीकि चौपाल की जमीन कब्जवाने का आरोप!

 

कैथल के रायवाली गांव में वाल्मीकि समाज की चौपाल की जमीन कब्जाने का मामला सामने आया है. वाल्मीकि समाज से आने वाली महिलाओं ने पुंडरी विधानसभा सीट से निर्दलीय विधायक रणधीर गोलन, गांव के सरपंच और के अन्य अपराधिक पृष्ठभूमि से आने वाले लोगों पर चौपाल की जमीन कब्जाने की साजिश का आरोप लगाया है.
मजदूरी करके घर चलाने वाली करीबन 40 वर्षीय महिला ने बताया कि तकरीबन 40 साल पहले हमारी चौपाल की जमीन का गुर्जर समाज से आने वाले एक परिवार के साथ तबादला हुआ था जिसके बाद से वो अपनी जमीन का प्रयोग कर रहे हैं और इस जमीन पर हमारी चौपाल बनी हुई थी. लेकिन इन्होंने विधायक रणधीर गोलन और गांव के अन्य दबंग लोगों के साथ मिलकर हमारे लोगों को दोबारा से नई चौपाल बनाने के लिए सरकारी ग्रांट का हवाला देकर चौपाल में बने कमरे और बरामदा गिरवा दिया.

चौपाल की जमीन खाली होने के बाद दबंग लोगों ने कोर्ट से स्टे ले लिया है. वाल्मीकि समाज से आने वाली एक और महिला ने बताया कि हम लोगों पर लगातार जुल्म ढहाया जा रहा है इससे पहले 1986 में हमारे समाज की एक लड़की के साथ रेप किया गया था जिसके बाद गांव के वाल्मीकि समाज के परिवार गांव से पलायन कर गए थे. वहीं लड़की के साथ रेप करने वाले जेल से बाहर आकर खुले घूम रहे हैं लेकिन पीड़ित लड़की का परिवार गांव से पलायन कर चुका है.

गांव से पलायन करने के बाद ये परिवार आस पास के गांव शेरदा, सोंघल, समैन और पुंडरी में बस गए थे. लेकिन दो साल बाद गांव के ही कुछ लोग इन परिवारों को वापस गांव लेकर आ गए. ये परिवार तो गांव लौट आए लेकिन इनपर होने वाली ज्यादतियां आज भी जारी है.

गांव-सवेरा से बात करते हुए वाल्मीकि समाज की एक महिला ने बताया चौपाल का प्रयोग मरने जीने में होता था पहले तो उसको गिरवा दिया अब जमीन पर भी कोर्ट से स्टे लेकर कब्जा करना चाहते हैं ऐसे में हमारे समाज के लोग सुख दुख में कहां बैठेंगे दूसरे समाज के लोग हमें अपनी चौपाल में क्यों बैठने देंगे?